भोपाल। प्रदेश अध्यक्ष की कमान मिलते ही कमलनाथ एक्शन मोड़ में है. चुनावी साल में अपने काम को लेकर लापरवाही बरतने वाले नेताओं पर उन्होंने नकेल कसना भी शुरू कर दिया है. यही वजह है कि कांग्रेस विधायकों की बैठक में देर से आने वाले विधायकों पर कमलनाथ भड़क उठे. दरअसल बुधवार की रात राजधानी भोपाल में कमलनाथ ने विधायकों की बैठक ली. इस बैठक में कमलनाथ पहले पहुँच गए जबकि आधा दर्जन विधायक उनके पहुंचने के बाद आए. वही कुछ विधायक बैठक से अनुपस्थित रहे. देरी से आने वाले विधायकों पर वे भड़क उठे.
इस दौरान उन्होंने विधायकों से कहा कि वे भोपाल में ज्यादा नहीं रुकें. अपने क्षेत्रों में ज्यादा समय गुजारें. वे समय का बराबर ध्यान रखें। मैं टाइम पर मीटिंग शुरू करता हूं. विधायकों को उन्होंने टाइम मैनेजमेंट की हिदायत भी दी. बैठक में जयवर्धन सिंह, कमलेश शाह और उमंग सिंघार सहित चार विधायक नहीं पहुंचे.
सूत्रों के मुताबिक बैठक में कमलनाथ ने विधायकों से कहा कि वे सात दिन में अपने क्षेत्र की स्थानीय समस्याओं और जनता के हित में कैसा घोषणा पत्र बनाएं और सुझाव दें. उनसे संगठन की दृष्टि से भी सुझाव मांगे थे. वे बोले कि विधायक उनसे मिलने के लिए भोपाल नहीं आएं. जिस क्षेत्र में वे होंगे, उसके आसपास के विधायक उनसे मिल सकते हैं.
उन्होंने कहा कि हमारा मुकाबला साजिश, षड्यंत्र और धन-बल से है. इसलिए जमीन को मजबूत बनाना है ताकि कोई भी प्रपंच जनता को गुमराह न कर सके. यहां उन्होंने नारा दिया ‘किसान बिना दाम के, नौजवान बिना काम के, जनता पूछे मोदी-शिवराज किस काम के.
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